ऋषिकेश एम्स में नौकरी का झांसा देकर की गई ठगी का मामला गंभीर मोड़ ले चुका है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के सख्त निर्देश के बाद अब आरोपी कर्मचारी के खिलाफ आधिकारिक रूप से धोखाधड़ी का केस दर्ज कर लिया गया है। पीड़ित की ओर से गुहार लगाने पर प्रशासन और पुलिस दोनों हरकत में आ गए हैं।
सीएम धामी के आदेश पर शुरू हुई कानूनी कार्रवाई
मुख्यमंत्री धामी से शिकायत मिलने के बाद पुलिस ने एम्स ऋषिकेश के कनिष्ठ प्रशासनिक सहायक सिद्धांत शर्मा के खिलाफ धोखाधड़ी और आर्थिक शोषण का मामला दर्ज किया।
आरोप है कि आरोपी ने नौकरी का लालच देकर एक स्थानीय युवक से 5.59 लाख रुपये वसूल लिए।
वरिष्ठ उपनिरीक्षक भगत सिंह रावत के अनुसार, यह मुकदमा सागर चौधरी नामक युवक की शिकायत पर दर्ज किया गया है, जिसने बताया कि इं्ट्राम्यूरल रिसर्च प्रोजेक्ट से जुड़ी जानकारी लेने एम्स जाने पर उनकी मुलाकात आरोपी कर्मचारी से हुई थी।
पीड़ित ने बताया—”नौकरी दिलाने का वादा, पैसे भी ले लिए”
शिकायत में कहा गया कि आरोपी ने सागर चौधरी को एम्स में नौकरी दिलाने का आश्वासन दिया और इसके बदले रकम की मांग की।
पीड़ित से पैसे लेने के बाद आरोपी ने दो लाख रुपये वापस भी कर दिए, लेकिन नौकरी दिलाने की बात झूठी साबित हुई।
काफी समय तक शिकायत के बावजूद कोई ठोस कार्रवाई न होने पर पीड़ित को मजबूरी में मुख्यमंत्री से न्याय की गुहार लगानी पड़ी।
आरोपी पर पहले भी लग चुके हैं इसी तरह के आरोप
एम्स ऋषिकेश के जनसंपर्क अधिकारी संदीप कुमार ने भी पुष्टि की कि सिद्धांत शर्मा पर पहले भी ठगी के आरोप लगे हैं।
संस्थान के अनुसार:
- सभी पुराने मामलों की जांच पूरी हो चुकी है
- रिपोर्ट सक्षम प्राधिकारी को भेज दी गई है
- आरोपी के खिलाफ विभागीय कार्रवाई अंतिम चरण में है
- सेवा समाप्ति की कार्रवाई भी संभव है
पुलिस जांच तेज, आगे होगी कड़ी कार्रवाई
मुख्यमंत्री के हस्तक्षेप के बाद पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए विस्तृत जांच शुरू कर दी है।
पुलिस का कहना है कि साक्ष्यों के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी और यदि अपराध साबित हुआ, तो आरोपी के खिलाफ कठोर धाराओं में कार्रवाई होगी।













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