गढ़वाल की एकमात्र सरकारी शुगर मिल डोईवाला में व्याप्त अनियमितताओं को लेकर मुखर उत्तराखंड क्रांति दल ने जिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन प्रेषित किया।
यूकेडी के केंद्रीय मीडिया प्रभारी श्री प्रसाद सेमवाल ने कहा कि डोईवाला शुगर मिल के अधिशासी निदेशक एनएच 74 घोटाले के आरोपी थे ऐसे में उनको शुगर मिल का चार्ज नहीं दिया जाना चाहिए था सेमवाल ने उन पर मजदूरों का भुगतान रोकने, भाई भतीजावाद करने को लेकर उनके कार्यकाल की जांच कराने और उनका ट्रांसफर करने की मांग की।
यूकेडी के जिलाध्यक्ष संजय डोभाल ने आरोप लगाया कि यूपी से सटे गन्ना केंद्रों से खराब गुणवत्ता की खरीद की गई। इसमें भारी मात्रा में कमीशन खोरी हुई है ।उत्पादित की गई थी चीनी खराब गुणवत्ता की है जिसको दुकानदार और ग्राहक भी नहीं खरीद रहे।
यूकेडी के केंद्रीय उपाध्यक्ष सुनील ध्यानी ने कहा कि
दिनेश प्रताप सिंह ने अपने तमाम रिश्ते दालों और करीबियों को मिल मे नौकरी दी है।
कहा कि अपने भांजे भांजे अक्षय सिंह को सुगर मिल मे सहायक अभियंता बनाया है। इन्होंने शुगर मिल में सीतापुर और हरदोई के तमाम लोगों को तैनात किया है। सीतापुर हरदोई के अजीत प्रताप सिंह को सुपरवाइजर, योगेंद्र मिश्रा को लैब असिस्टेंट, सिद्धार्थ दीक्षित को गन्ना अधीक्षक के पद पर तैनात किया गया है। इनको अनुचित लाभ पहुंचाया जा रहा है।
यूकेडी के केंद्रीय प्रवक्ता अनुपम खत्री ने कहा कि उत्तराखंड पूरे देश में बेरोजगारी के आंकड़ों को लेकर शीर्ष स्थान पर है लेकिन उत्तराखंड बनने के बाद यहां पर रोजगार के लाभ यह अधिकारी उत्तर प्रदेश, सीतापुर हरदोई के अपने निजी रिश्तेदारों और करीबियों को पहुंचा रहे हैं।
ज्ञापन देने वालों में केंद्रीय उपाध्यक्ष सुनील ध्यानी, केंद्रीय प्रवक्ता अनुपम खत्री, श्रमिक प्रकोष्ठ के अध्यक्ष राजेंद्र पंत, जिलाध्यक्ष संजय डोभाल,वरिष्ठ नेता केएल शाह, राजेन्द्र प्रधान आदि शामिल थे।