प्रॉपर्टी बेचकर हुई कमाई पर भी देना होगा टैक्स,कैसे बचाए टैक्स जाने ये नियम
जब भी हम कोई प्रॉपर्टी, इक्विटी या म्यूचुअल फंड बेचते हैं, मुनाफे पर कैपिटल गेन टैक्स चुकाना पड़ता है। हालांकि ये टैक्स बचाने के कुछ विशेष नियम हैं, जो अधिकतम 10 करोड़ रुपए की कटौती की अनुमति देते हैं।
इनकम टैक्स एक्ट के सेक्शन 54 के मुताबिक, अगर आप कोई मकान बेचते हैं और इस तरीके से हुई आय तय अवधि के भीतर (2 साल के भीतर खरीद या 3 साल के भीतर नई प्रॉपर्टी का कंस्ट्रक्शन) कोई अन्य घर खरीदने में खर्च करते हैं तो शुरुआत में जिस प्रॉपर्टी को बेचकर आपने कैपिटल गेन कमाया था उस पर टैक्स में छूट मिल सकती है।
जैसे……
जब आपने घर खरीदा था तब उसकी कीमत 20 लाख रुपए थी। अब आप इसे 42 लाख रुपए में बेच रहे हैं। आपको 22 लाख रुपए का कैपिटल गेन (मुनाफा) हुआ। आपको इस पर 3% सरचार्ज और सेस (उपकर) के अलावा 20% लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन टैक्स भी देना होगा। हालांकि, यदि आप पुराने घर की बिक्री से हुई आय से कोई अन्य मकान खरीदते हैं तो आपको इस टैक्स से छूट मिलेगी।
कैपिटल गेन्स अकाउंट स्कीम का भी उठा सकते हैं फायदा
टैक्स एक्सपर्ट सुनील गर्ग बताते हैं कि अगर आप टैक्स रिटर्न फाइल करने तक घर बेचने से मिले पैसे का इस्तेमाल नया घर खरीदने के लिए नहीं करते हैं, तो उस पैसे को कैपिटल गेन्स अकाउंट स्कीम के तहत एक विशेष खाते में डाल दें। फिर भी उस पैसे से 2 साल में कोई घर खरीदना होगा या 3 साल में नया मकान बनवाना होगा।
इन हालात में नहीं बचा सकते कैपिटल गेन टैक्स
- आपको केवल 1 घर खरीदने पर ही कैपिटल गेन पर छूट मिल सकती है।
- पुराने घर की बिक्री से प्राप्त मुनाफे से लिए गए नए घर को खरीदने या निर्माण पूरा होने के 3 साल बाद तक नहीं बेच सकते। अगर आप नया घर खरीदने/निर्माण के 3 साल पूरा होने से पहले बेचते हैं, तो सेक्शन 54 के तहत आपको प्राप्त लाभ रद्द कर दिया जाएगा और पूरा लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन टैक्स चुकाना होगा।
- सेक्शन 54 के तहत छूट आपको तभी मिल सकती है, जब आप भारत में घर खरीद रहे हों। देश के बाहर खरीदी गई किसी भी रेसिडेंशियल प्रॉपर्टी पर आपको लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन टैक्स पर कोई छूट नहीं मिलेगी।
कितना देना होता है टैक्स?
इनकम टैक्स कानून के हिसाब से अगर प्रॉपर्टी खरीदने के तीन साल के अंदर बेच दी जाए तो इससे होने वाले मुनाफे को शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन (STCG) माना जाता है। घर या प्लॉट बेचने से हुए मुनाफे की इस रकम को आपकी कुल आमदनी में जोड़ा जाएगा और उसके बाद आपके टैक्स स्लैब के हिसाब से इस पर टैक्स वसूला जाएगा।
अगर आप प्रॉपर्टी खरीदने के बाद 3 साल रखते हैं और फिर उसे बेचते हैं तो इससे होने वाला मुनाफा लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (LTCG) माना जाएगा। इस तरह की आमदनी पर आपको इंडेक्सेशन (समय के हिसाब से प्रॉपर्टी की कीमत बढ़ने) के लाभ के बाद 20.8% के हिसाब से टैक्स चुकाना पड़ेगा।