नई दिल्ली: डिजिटल बैंकिंग ने भारत की अर्थव्यवस्था को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया है, लेकिन इसके साथ ही साइबर ठगी (Cyber Fraud) और फिशिंग अटैक (Phishing Attack) जैसी घटनाएं भी तेजी से बढ़ी हैं। इस बढ़ते खतरे को देखते हुए भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने ऑनलाइन बैंकिंग को और सुरक्षित बनाने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है।
अब देश के सभी बैंकों की आधिकारिक वेबसाइट का डोमेन नाम ‘.bank.in’ से खत्म होना अनिवार्य होगा। RBI का यह आदेश सीधे तौर पर फेक बैंक वेबसाइट्स, डोमेन क्लोनिंग, और ऑनलाइन फ्रॉड को रोकने में मदद करेगा।
RBI का नया साइबर सिक्योरिटी कदम
RBI ने कहा है कि आने वाले समय में कोई भी बैंक अपनी वेबसाइट किसी अन्य डोमेन (जैसे .com, .co.in या .org) पर नहीं चला सकेगा। हर बैंक को अपनी वेबसाइट को ‘.bank.in’ एक्सटेंशन में ट्रांसफर करना होगा।
यह कदम सिर्फ डोमेन बदलने की प्रक्रिया नहीं है, बल्कि यह डिजिटल बैंकिंग सिस्टम को अधिक पारदर्शी और सुरक्षित बनाने की दिशा में एक बड़ी पहल है।
क्या है ‘.bank.in’ डोमेन?
‘.bank.in’ एक सिक्योर टॉप-लेवल डोमेन (TLD) है, जिसे विशेष रूप से भारतीय बैंकों के लिए बनाया गया है। इसे IDRBT (Institute for Development and Research in Banking Technology) और MeitY (Ministry of Electronics and Information Technology) के सहयोग से विकसित किया गया है।
इस डोमेन को केवल ऑथराइज्ड और मान्यता प्राप्त बैंक ही उपयोग कर सकेंगे। यानी, कोई भी फेक या अनऑथोराइज संस्था इसे नहीं ले सकेगी। इससे फेक वेबसाइट्स और फ्रॉड लिंक से लोगों को बचाना आसान होगा।
RBI को क्यों उठाना पड़ा यह कदम?
पिछले कुछ वर्षों में फेक बैंक वेबसाइट्स और फ्रॉड लिंक की वजह से लाखों ग्राहक ठगी का शिकार हुए हैं। साइबर अपराधी असली वेबसाइट जैसी दिखने वाली क्लोन साइट्स बनाकर लोगों से उनके बैंक अकाउंट, ATM PIN, पासवर्ड जैसी जानकारी चुरा लेते थे।
इन घटनाओं को रोकने और डिजिटल बैंकिंग में लोगों का भरोसा बढ़ाने के लिए RBI ने यह फैसला लिया है।
अब जब सभी बैंकों की वेबसाइट केवल ‘.bank.in’ पर समाप्त होगी, तो ग्राहकों को असली और नकली वेबसाइट में फर्क करना बेहद आसान होगा।
उदाहरण:
- पहले वेबसाइट: www.sbi.co.in
- अब नई वेबसाइट: www.sbi.bank.in
कैसे बढ़ेगी ऑनलाइन बैंकिंग सिक्योरिटी?
‘.bank.in’ डोमेन केवल नाम में बदलाव नहीं लाएगा, बल्कि इसके साथ कई उन्नत सिक्योरिटी फीचर्स भी जुड़ेंगे:
1️⃣ DNS Security Extensions (DNSSEC) – यह टेक्नोलॉजी किसी भी वेबसाइट की असली पहचान सुनिश्चित करती है और फेक साइट्स से बचाव करती है।
2️⃣ Email Authentication (DMARC/SPF/DKIM) – बैंक से आने वाले ईमेल अब वेरिफाइड होंगे, जिससे फेक ईमेल या फिशिंग लिंक की पहचान आसान होगी।
3️⃣ SSL/TLS Encryption – हर वेबसाइट पर डेटा ट्रांसफर अब एंड-टू-एंड एन्क्रिप्टेड होगा, जिससे ग्राहकों की व्यक्तिगत और वित्तीय जानकारी पूरी तरह सुरक्षित रहेगी।
4️⃣ Centralized Monitoring System – RBI और IDRBT इन डोमेनों की निगरानी करेंगे ताकि किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत एक्शन लिया जा सके।
RBI का बयान
RBI ने कहा है —
“बैंकिंग सेक्टर में पारदर्शिता और ग्राहक सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है। नया ‘.bank.in’ डोमेन ग्राहकों को साइबर ठगी से बचाने में अहम भूमिका निभाएगा और डिजिटल बैंकिंग को अधिक सुरक्षित बनाएगा।”
ग्राहकों के लिए जरूरी जानकारी
- किसी भी बैंकिंग ट्रांजैक्शन से पहले वेबसाइट का डोमेन .bank.in से खत्म हो रहा है या नहीं, यह जरूर चेक करें।
- ईमेल, SMS या WhatsApp लिंक के जरिए बैंकिंग डिटेल्स कभी शेयर न करें।
- किसी संदिग्ध वेबसाइट पर OTP, PIN या UPI पिन न डालें।
- बैंकिंग फ्रॉड की स्थिति में तुरंत cybercrime.gov.in पर शिकायत दर्ज करें।
डिजिटल बैंकिंग में नया युग
RBI का यह निर्णय न केवल साइबर सुरक्षा को मजबूती देगा, बल्कि ग्राहकों में विश्वास और पारदर्शिता भी बढ़ाएगा। आने वाले समय में यह कदम भारत को सुरक्षित डिजिटल बैंकिंग सिस्टम की दिशा में एक और बड़ा कदम साबित हो सकता है।












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