देहरादून, – जन-कल्याण में संकल्पबद्ध जिला प्रशासन एक बार फिर संकट में फंसे जरूरतमंद की मदद को आगे आया है। बीते सप्ताह शहीद भगत सिंह कॉलोनी निवासी गजाला, जिनके पति का हाल ही में आकस्मिक निधन हो गया, ने अपने बेटे रिहान की पढ़ाई जारी रखने के लिए जिलाधिकारी सविन बंसल से गुहार लगाई थी।
गजाला ने बताया कि पति की मृत्यु के बाद पूरा परिवार आर्थिक संकट से जूझ रहा है। रिहान अपनी पढ़ाई के साथ-साथ शाम को एक कैमिस्ट की दुकान में काम करता है, ताकि घर और स्कूल की फीस का खर्च उठा सके। लेकिन आर्थिक स्थिति इतनी खराब है कि अब स्कूल की फीस भरना असंभव हो गया था।
डीएम सविन बंसल ने मामले की गंभीरता को समझते हुए एसजीआरआर एजुकेशन मिशन से रिहान की शत-प्रतिशत फीस माफी का अनुरोध किया। मिशन द्वारा तत्परता दिखाते हुए अगले ही दिन स्कूल के प्रधानाध्यापक को रिहान की पूर्ण फीस माफ करने का पत्र जारी कर दिया गया।
यह उदाहरण न सिर्फ प्रशासन की संवेदनशीलता को दर्शाता है, बल्कि यह भी बताता है कि शिक्षा जैसे मौलिक अधिकार को सुनिश्चित करने में जिला प्रशासन कितनी तत्परता से काम कर रहा है।
संकट में आशा की किरण बना जिला प्रशासन
जिलाधिकारी सविन बंसल ने जानकारी देते हुए बताया कि वर्तमान में ऐसे कई मामले जिला प्रशासन के संज्ञान में आ रहे हैं, जिनमें आर्थिक संकट से जूझ रहे छात्रों, महिलाओं, बुजुर्गों और दिव्यांगों को सहायता पहुंचाई जा रही है। विशेष रूप से बच्चों की शिक्षा, विधवा महिलाओं को रोजगार, आर्थिक सहायता और वृद्धजनों को न्याय दिलाने के लिए त्वरित कार्यवाही की जा रही है।
इस प्रकार की पहल न केवल ज़रूरतमंदों के जीवन में राहत लेकर आ रही है, बल्कि जनता का प्रशासन और सरकार के प्रति विश्वास भी लगातार बढ़ा रही है।
Discussion about this post