“मानव जीवन अमूल्य है, भक्ति में लीन होकर जीवन को सार्थक बनाएं” – श्री महंत जी
श्री दरबार साहिब की दूधिया रोशनी में अद्भुत आभा
देहरादून। श्री दरबार साहिब में सोमवार को बड़ी संख्या में श्रद्धालु श्री झंडे जी के दर्शन करने पहुंचे। उन्होंने श्री झंडे जी पर माथा टेका और मनौतियां मांगीं। दरबार श्री गुरु राम राय जी महाराज के सज्जादानशीन श्रीमहंत देवेंद्र दास जी महाराज ने संगतों को आशीर्वाद दिया और झंडे जी के ऐतिहासिक एवं धार्मिक महत्व पर प्रकाश डाला।
उन्होंने कहा, “परमात्मा को प्रसन्न करने के लिए भाव होना आवश्यक है। यदि हमारे मन में सच्ची श्रद्धा और लगन है, तो परमात्मा के दर्शन अवश्य होंगे। सच्चा गुरु शिष्य को समर्थ बनाता है।”
श्री झंडे जी मेले का ऐतिहासिक महत्व
सिखों के सातवें गुरु श्री गुरु हर राय जी महाराज के बड़े पुत्र श्री गुरु राम राय जी महाराज का जन्म 1646 ई. में कीरतपुर, पंजाब में हुआ था। उन्होंने देहरादून को अपनी तपस्थली बनाया और लोककल्याण के लिए श्री दरबार साहिब में विशाल झंडा स्थापित किया।
हर वर्ष होली के पांचवें दिन (चैत्रवदी पंचमी) को श्री गुरु राम राय जी महाराज के जन्मदिवस के रूप में भव्य आयोजन किया जाता है, जिसे श्री झंडा जी मेला कहा जाता है।
कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने टेका मत्था
उत्तराखंड सरकार के कृषि एवं कृषक कल्याण मंत्री गणेश जोशी ने श्री दरबार साहिब में माथा टेका और श्रीमहंत देवेंद्र दास जी महाराज से भेंट कर आशीर्वाद प्राप्त किया। इस दौरान प्रदेश के समसामयिक विषयों पर चर्चा हुई।
कैबिनेट मंत्री ने संगतों और श्रद्धालुओं को ऐतिहासिक झंडे जी मेले की बधाई एवं शुभकामनाएं दीं।
पवित्र सरोवर बना आकर्षण का केंद्र
श्री दरबार साहिब में स्थित पवित्र सरोवर श्रद्धालुओं के लिए विशेष आस्था का केंद्र है। मेले में आने वाली संगतें इसमें आस्था की डुबकी लगाकर पुण्य अर्जित करती हैं।
हाल ही में ओजोन वाटर फिल्ट्रेशन प्लांट लगाने से पानी की स्वच्छता बनी हुई है। रात के समय रोशनी के बीच सरोवर की शोभा अद्भुत प्रतीत हो रही है।
श्री दरबार साहिब की भव्य साज-सज्जा
श्री झंडा जी मेला आयोजन समिति ने पूरे दरबार साहिब परिसर को दूधिया रोशनी और विशेष सजावट से अलंकृत किया है। रात में इसकी छटा मनमोहक दिखाई दे रही है, जो संगतों के आकर्षण का केंद्र बनी हुई है।
देश-विदेश से संगतों का आगमन जारी
झंडा जी मेले में उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, हिमाचल, राजस्थान सहित देशभर से श्रद्धालु पहुंचे हैं। विदेशी श्रद्धालु भी मेले की भव्यता में चार चांद लगा रहे हैं।
गिलाफ सिलाई कार्य लगभग पूरा
श्री झंडा जी के लिए महिला संगतों द्वारा गिलाफ सिलाई का कार्य श्रद्धा और भावनाओं के साथ किया जा रहा है।
श्री झंडा जी पर तीन प्रकार के गिलाफ चढ़ाए जाते हैं:
- भीतर के गिलाफ (41) – सादे वस्त्र
- मध्य के गिलाफ (21) – शनील के वस्त्र
- बाहरी गिलाफ (1) – दर्शनी गिलाफ
सुरक्षा के कड़े इंतजाम, CCTV से निगरानी
श्रद्धालुओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए मेले में 42 सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं।
- श्री महंत इंदिरेश अस्पताल की मेडिकल टीम मेला स्थल पर उपलब्ध है।
- 2 एंबुलेंस, 25 फायर एक्सटिंग्विशर, 35 सुरक्षा गार्ड और 500 संगत स्वयंसेवक मेले की व्यवस्था को संभाल रहे हैं।
- पुलिस प्रशासन द्वारा भी सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं।
आस्था, श्रद्धा और भक्ति का भव्य आयोजन
श्री झंडा जी महोत्सव सिर्फ एक मेला नहीं, बल्कि आस्था और भक्ति का प्रतीक है, जो सद्भाव, एकता और गुरु भक्ति का संदेश देता है। संगतों का उत्साह और श्रद्धा झंडा जी मेले को चढ़दी कलां (उन्नति और समृद्धि) प्रदान करता है।
जय श्री गुरु राम राय जी महाराज!