हाई कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री के निर्वाचन को चुनौती देने वाली याचिका को निराधार बताते हुए याचिकाकर्ता को फटकार लगा दी है।
दरअसल,देहरादून निवासी मनीष वर्मा ने डॉ निशंक के निर्वाचन के खिलाफ हाईकोर्ट मे याचिका दायर की थी। वर्मा ने नामांकन के दौरान डॉ निशंक पर शपथ पत्र में गलत जानकारी देने का आरोप लगाया था।
मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति शरद कुमार शर्मा की एकलपीठ में हुई।
उत्तराखण्ड हाईकोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री और सांसद हरिद्वार डॉ रमेश पोखरियाल निशंक के 2019 के निर्वाचन को चुनौती देने वाली याचिका में दिए गये तथ्यों को निराधार और औचित्यहीन मानते हुए ख़ारिज कर दिया।
साथ ही कोर्ट ने याचिकाकर्ता से याचिका में लगाये गए आरोपों के साक्ष्य मांगे जो वे नहीं दे सके। जिसके चलते अदालत ने याचिका से सम्बंधित कोर्ट कार्यवाही को मीडिया में कुप्रचार और लोकप्रियता हासिल करने की मंशा को लेकर वर्मा को फटकार लगाई थी।