देहरादून: पूर्व मंत्री हरक सिंह रावत ने लोकसभा चुनाव के लिए हरिद्वार की सीट पर अपनी ताल ठोक दी हैl
हरक सिंह रावत की हरिद्वार सीट से लोकसभा चुनाव लड़ने की इच्छा के चलते क्षेत्रीय नेताओं में जहां एक तरफ खलबली मच गई है l वही,हरिद्वार प्रेमी रहे पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की भी बेचैनी बढ़ा दी हैl
हालांकि,लोकसभा चुनाव जहां अगले वर्ष होने वाले हैं उस पर 1 वर्ष पहले ही अपनी ताल ठोक देना पार्टी के अंदर चल रही गुटबाजी के तौर पर भी देखा जा रहा हैl
कद्दावर नेता हरक सिंह रावत ने गढ़वाल की अलग-अलग विधानसभाओं से चुनाव में जीत दर्ज की है l
साथ ही 2014 में कांग्रेस के टिकट पर पौड़ी गढ़वाल लोकसभा सीट उन्होंने गवा दी थी,लेकिन अब हरिद्वार की सीट से उनकी दावेदारी में राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं बढ़ा दी हैl
हरक सिंह रावत ने हरिद्वार की सीट से चुनाव लड़ने को लेकर राष्ट्रीय अध्यक्ष मलिकार्जुन खड़के और अन्य केंद्रीय नेताओं से मिलकर अपनी बात भी रख दी है l
हालांकि हरिद्वार से पहले से ही हरीश रावत की पसंदीदा सीट रही है l हरिद्वार सीट से सांसद रहते हुए ही वह केंद्र की यूपीए सरकार में कैबिनेट मंत्री बने। इसके बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री का पद भी संभाला।
हरक सिंह ने जब से हरिद्वार सीट पर अपनी दावेदारी पेश की है तभी से राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि टिकट वितरण के समय हरिद्वार सीट पर हरक सिंह और हरीश रावत के बीच तनातनी देखी जा सकती हैl
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा का कहना है कि अभी लोकसभा चुनाव के लिए लंबा समय है। किस सीट से कौन चुनाव लड़ेगा या नहीं, यह निर्णय हाईकमान को लेना है। टिकट देने से पहले पार्टी सर्वे भी करती है। कांग्रेस में आंतरिक लोकतंत्र है, इसलिए किसी को भी किसी सीट से दावेदारी रखने की स्वतंत्रता है।